Quantcast
Channel: Good News, Real Inspirational Stories, Real Heroes Positive Views – Navbharat Times
Viewing all articles
Browse latest Browse all 724

सलाम: एसिड अटैक में आंखें खराब, अब बैंकर

$
0
0

चंडीगढ़
सात साल पहले हुए एसिड हमले में आंखों की रोशनी गंवा देने वाली 30 साल की इंदरजीत कौर परिस्‍थतियों से हार मान लेने वाले लोगों के सामने नायाब उदाहरण बनकर आई हैं। लंबे अरसे तक कठिन हालातों का सामना करने के बाद अब वह अपनी जिंदगी एक सरकारी बैंकर के रूप में शुरू करने जा रही हैं। उन्‍हें केनरा बैंक के दिल्‍ली स्थित ऑफिस में क्‍लर्क पद पर नियुक्‍त किया गया है। इंदरजीत की याचिका पर पंजाब व हरियाणा हाईकोर्ट पंजाब सरकार को उनका मुफ्त इलाज कराने के साथ आर्थिक मदद भी देने का आदेश दे चुकी है।

दिसंबर 2011 से पहले तक मोहाली के मरौली कलां गांव की रहने वाली इंदरजीत कौर की जिंदगी भी आम लड़कियों जैसी थी। वह कॉलेज पढ़ने जाया करती थीं। उनके मन में भी तमाम सपने थे पर एक हादसे ने सारी खुशियों पर ग्रहण लगा दिया। पड़ोसी गांव के मनजीत सिंह ने उन्‍हें शादी करने का प्रस्‍ताव दिया जिसे उन्‍होंने अस्‍वीकार कर दिया। इस बात से खफा होकर मनजीत एक दिन उनके घर में घुस आया और उन्‍हें एसिड से नहला दिया। इंदरजीत कौर की आंखों की रोशनी तो गई ही, चेहरे, गर्दन, हाथों और शरीर के अन्‍य हिस्‍से पर भी गंभीर जख्‍म आए। अचानक हुए इस हादसे ने उनको तोड़ कर रख दिया।

भाई ने किया किनारा, सिर्फ मां ने साथ दिया
इंदरजीत बताती हैं, 'मैंने अपनी जिंदगी में बहुत बुरा समय देखा। मां के अलावा किसी रिश्‍तेदार ने मेरा साथ नहीं दिया। यहां तक कि मेरे भाई ने भी किनारा कर लिया। पढ़ाई छूट गई और मैं खुद को पूरी तरह अलग-थलग महसूस करने लगी। मैं हर वक्‍त बस रोती रहती थी। गांववाले और रिश्‍तेदार कहते थे कि मैं अपने परिवार और समाज पर बोझ बन कर जिऊंगी। उनके तानों से तंग आकर कुछ करने की सोची और देहरादून स्थित नेशनल इंस्टिट्यूट फॉर विजुअली हैंडीकैप्‍ड में प्रवेश ले लिया। वहां ऑडियो रिकॉर्डिंग तकनीक से पढ़ाई करना सीखा और 2016 में ग्रेजुएशन पूरी की। इसके बाद बैंकिंग परीक्षाओं की तैयारियों में जुट गई। तीसरे प्रयास में जून 2018 में केनरा बैंक में मेरा सिलेक्शन हो गया।'

हाईकोर्ट से लगाई गुहार

खुद पर हुए एसिड अटैक से पहले इंदरजीत बच्‍चों को ट्यूशन पढ़ाती थीं पर इस हादसे ने उनकी आमदनी का एकमात्र जरिया भी छीन लिया। गरीब परिवार की होने की वजह से वह प्‍लास्टिक सर्जरी जैसे महंगे इलाज करवाने में असमर्थ थीं। ऐसे में उन्‍होंने पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट से अपने इलाज और पुनर्वास के लिए आर्थिक मदद दिलवाने की गुहार लगाई। याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने पंजाब सरकार को आदेश दिया कि वह उनका मुफ्त तो इलाज करवाए ही, आर्थिक सहायता भी उपलब्‍ध कराए।

मोबाइल ऐप डाउनलोड करें और रहें हर खबर से अपडेट।


Viewing all articles
Browse latest Browse all 724

Trending Articles



<script src="https://jsc.adskeeper.com/r/s/rssing.com.1596347.js" async> </script>